पाठ 10 : हाग्गै
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सारांश
बेबीलोन की बँधुआई के दौरान हाग्गै का जन्म हुआ। पफारस के राजा कुस्त्रु ने बेबीलोन पर चढ़ाई करके उसे कब्जे में कर लिया। उसने सभी बँधुओं को वापस अपने-अपने देश जाने की अनुमति दे दी। उसकी आज्ञानुसार ;2 इति. 36:22-23 एज्रा 1 यहूदियों का एक झुण्ड वापस यहूदिया को गया और वहाँ बस कर वे परमेश्वर के मंदिर की मरम्मत में लग गए जिसे नबूकद्नेस्सर ने तबाह कर दिया था। तुरंत ही इस्राएलियों के शत्रु उठ खड़े हुए और उनके निर्माण कार्य को बलपूर्वक रोक दिया। इस प्रकार 15 वर्ष बीत गए। इसी दौरान परमेश्वर के भविष्यद्वक्ता हाग्गै ने भविष्यद्वाणी की ताकि लोगों को परमेश्वर के मंदिर के पुनर्निर्माण कार्य के लिए प्रोत्साहित करे। ;एज्रा 5:1। हाग्गै नाम का अर्थ है पर्व। यह उन पर्वों का प्रतीक है जो परमेश्वर के लोगों के जीवन में होने वाला था। उसकी भविष्यद्वाणी छोटी थी। वह चार संदेश देता है, जिनमें पहले डाँट लगाता है और पिफर प्रोत्साहित करता है। अपने प्रभावशाली संदेश को लोगों के दिलों तक पहुँचाने के लिए वह बार-बार दोहराता है कि ‘‘सेनाओं का यहोवा यों कहता है’’;हाग्गै 1:2, 5, (7 2:6), 11। ‘‘अपनी चाल चलन पर ध्यान करो’’ ;हाग्गै 1:5, 7। ‘‘मैं तुम्हारे संग हूँ’’ ;हाग्गै 1:13, 2:4और ‘‘हियाव बाँधे’’ ;हाग्गै 2:4 तीन बार इस पुस्तक के चार भाग हैं
- मंदिर के पुनर्निर्माण के लिए बुलाहट ;अध्याय 1
- नए मंदिर की महिमा ;अध्याय 2:1-9
- पवित्राता और आशीष के वायदे के विषय में एक सिद्धांत ;अध्याय 2:10-19
- जरुब्बाबेल से विशेष प्रतिज्ञा ;अध्याय 2:20-23।
- मंदिर के पुनर्निर्माण के लिए बुलाहट: इस संदेश की निश्चित तिथि दी गई है। राजा दारा ;1 के दूसरे वर्ष के आठवें महीने के पहले दिन यह संदेश दिया गया। ;हाग्गै 1:1। अर्थात् यह दिन 29 अगस्त, 520 ई.पू. है। अन्य भविष्यद्वक्ताओं ने लोगों को संदेश सुनाया परन्तु हाग्गै का संदेश अगुओं, जरुब्बाबेल, जो यहूदा का अध्पिति था, और महायाजक यहोशू के लिए था। लोग अपने लिए घरों का निर्माण कर रहे थे परंतु परमेश्वर के भवन का कार्य अधूरा पड़ा था। वह कहता है, ‘‘पहाड़ पर चढ़ जाओ और लकड़ी ले आओ और इस भवन को बनाओ, और मैं उसको देखकर प्रसन्न हूँगा और मेरी महिमा होगी, यहोवा का यही वचन है।’’ ;पद 8।
- नए मंदिर की महिमा: मंदिर के निर्माण कार्य के प्रति शीघ्र ही लोग आलसी हो गए। अतः सातवें महीने के बीसवें दिन ;सितंबर 21, 520 ई.पू. परमेश्वर का वचन पिफर से भविष्यद्वक्ता के पास पहुँचा, ‘‘अब यहोवा की यह वाणी है, हे जरुब्बाबेल, हियाव बाँध् और हे यहोसादाक के पुत्रा यहोशू महायाजक, हियाब बाँध्, और यहोवा की यह भी वाणी है कि हे देश देश के सब लोगों, हियाब बाँध्कर काम करो, क्योंकि मैं तुम्हारे संग हूँ, सेनाओं के यहोवा की यही वाणी है’’ ;पद 4 ‘‘इस भवन की पिछली महिमा इसकी पहली महिमा से बड़ी होगी।’’ ;2:5।
- पवित्राता और आशीष के वायदे के विषय में एक सिद्धांत :दो महीनों के पश्चात् परमेश्वर ने हाग्गै को एक और संदेश दिया। ‘‘सेनाओं का यहोवा यों कहता है: याजकों से इस बात की व्यवस्था पूछ, ‘यदि कोई अपने वस्त्रा के आँचल में पवित्रा माँस बाँध्कर, उसी आँचल से रोटी या किसी भी प्रकार के भोजन को छुए, तो क्या वह भोजन पवित्रा ठहरेगा?’’ याजकों ने उत्तर दिया, ‘‘नहीं।’’ पिफर हाग्गै ने पूछा, ‘‘यदि कोई व्यक्ति मनुष्य के शव के कारण अशु( होकर ऐसी किसी वस्तु को छुए, तो क्या वह अशु( ठहरेगी?’’ याजकों ने उत्तर दिया कि ‘‘हाँ, अशु( ठहरेगी।’’ पिफर हाग्गै ने कहा, यहोवा की यही वाणी है, कि मेरी दृष्टि में यह प्रजा और यह जाति वैसी ही है।’’ इसका अर्थ यह है कि पवित्रा स्थान में कार्य करना उन्हें पवित्रा नहीं बनाता है। तथापि, इस संदेश का अंत परमेश्वर एक वायदे के साथ करते हैं, ‘‘परंतु आज के दिन से मैं तुमको आशीष देता रहूँगा।’’ ;पद 19।
- जरुब्बाबेल से विशेष प्रतिज्ञा: उसी दिन हाग्गै ने परमेश्वर से अंतिम संदेश प्राप्त किया। यह संदेश जरुब्बाबेल के लिए था। ‘‘सेनाओं के यहोवा की यह वाणी है, उस दिन, हे मेरे दास जरुब्बाबेल, मैं तुझे लेकर अंगूठी के समान रखूँगा, यहोवा की यह वाणी है, क्योंकि मैं ने तुझी को चुन लिया है, सेनाओं के यहोवा की यही वाणी है।’’ ;पद 23।हाग्गै की भविष्यद्वाणी नए नियम के विश्वासियों के लिए भी मूल्यवान पाठ सिखाती है। ‘‘पहले तुम उसके राज्य और ध्र्म की खोज करो तो ये सब वस्तुएँ भी तुम्हें मिल जाएँगी।’’ ;मत्ती 6:33।
बाइबल अध्यन
2इतिहास 36:22-23 22 फारस के राजा कूस्रू के पहिले वर्ष में यहोवा ने उसके मन को उभारा कि जो वचन यिर्मयाह के मुंह से निकला था, वह पूरा हो। इसलिये उसने अपने समस्त राज्य में यह प्रचार करवाया, और इस आशय की चिट्ठियां लिखवाईं, 23 कि फारस का राजा कू्स्रू कहता है, कि स्वर्ग के परमेश्वर यहोवा ने पृथ्वी भर का राज्य मुझे दिया है, और उसी ने मुझे आज्ञा दी है कि यरूशलेम जो यहूदा में है उस में मेरा एक भवन बनवा; इसलिये हे उसकी प्रजा के सब लोगो, तुम में से जो कोई चाहे कि उसका परमेश्वर यहोवा उसके साथ रहे, तो वह वहां रवाना हो जाए। एज्रा 5:1 1 तब हाग्गै नामक नबी और इद्दो का पोता जकर्याह यहूदा और यरूशलेम के यहूदियों से नबूवत करने लगे, उन्होंने इस्राएल के परमेश्वर के नाम से उन से नबूवत की। हाग्गै 1:1,2,5,7,13 1 दारा राजा के दूसरे वर्ष के छठवें महीने के पहिले दिन, यहोवा का यह वचन, हाग्गै भविष्यद्वक्ता के द्वारा, शालतीएल के पुत्र जरूब्बाबेल के पास, जो यहूदा का अधिपति था, और यहोसादाक के पुत्र यहोशू महायाजक के पास पहुंचा: 2 सेनाओं का यहोवा यों कहता है, ये लोग कहते हैं कि यहोवा का भवन बनाने का समय नहीं आया है। 5 इसलिये अब सेनाओं का यहोवा यों कहता है, अपनी अपनी चाल-चलन पर ध्यान करो। 7 सेनाओ का यहोवा तुम से यों कहता हे, अपने अपने चालचलन पर सोचो। 13 तब यहोवा के दूत हाग्गै ने यहोवा से आज्ञा पाकर उन लोगों से यह कहा, यहोवा की यह वाणी है, मैं तुम्हारे संग हूं। हाग्गै 2:1-23 1 फिर सातवें महीने के इक्कीसवें दिन को यहोवा का यह वचन हाग्गै भविष्यद्वक्ता के पास पहुंचा, 2 शालतीएल के पुत्र यहूदा के अधिपति जरूब्बाबेल, और यहोसादाक के पुत्र यहोशू महायाजक और सब बचे हुए लोगों से यह बात कह, 3 तुम में से कौन है, जिसने इस भवन की पहिली महिमा देखी है? अब तुम इसे कैसी दशा में देखते हो? क्या यह सच नहीं कि यह तुम्हारी दृष्टि में उस पहिले की अपेक्षा कुछ भी अच्छा नहीं है? 4 तौभी, अब यहोवा की यह वाणी है, हे जरूब्बाबेल, हियाव बान्ध; और हे यहोसादाक के पुत्र यहोशू महायाजक, हियाव बान्ध; और यहोवा की यह भी वाणी है कि हे देश के सब लोगो हियाव बान्ध कर काम करो, क्योंकि मैं तुम्हारे संग हूं, सेनाओं के यहोवा की यही वाणी है। 5 तुम्हारे मिस्र से निकलने के समय जो वाचा मैं ने तुम से बान्धी थी, उसी वाचा के अनुसार मेरा आत्मा तुम्हारे बीच में बना है; इसलिये तुम मत डरो। 6 क्योंकि सेनाओं का यहोवा यों कहता है, अब थोड़ी ही देर बाकी है कि मैं आकाश और पृथ्वी और समुद्र और स्थल सब को कम्पित करूंगा। 7 और मैं सारी जातियों को कम्पकपाऊंगा, और सारी जातियों की मनभावनी वस्तुएं आएंगी; और मैं इस भवन को अपनी महिमा के तेज से भर दूंगा, सेनाओं के यहोवा का यही वचन है। 8 चान्दी तो मेरी है, और सोना भी मेरा ही है, सेनाओं के यहोवा की यही वाणी है। 9 इस भवन की पिछली महिमा इसकी पहिली महिमा से बड़ी होगी, सेनाओं के यहोवा का यही वचन है, और इस स्थान में मैं शान्ति दूंगा, सेनाओं के यहोवा की यही वाणी है॥ 10 दारा के दूसरे वर्ष के नौवें महीने के चौबीसवे दिन को, यहोवा का यह वचन हाग्गै भविष्यद्वक्ता के पास पहुंचा, 11 सेनाओं का यहोवा यों कहता है: याजकों से इस बात की व्यवस्था पूछ, 12 यदि कोई अपने वस्त्र के आंचल में पवित्र मांस बान्ध कर, उसी आंचल से रोटी वा पकाए हुए भोजन वा दाखमधु वा तेल वा किसी प्रकार के भोजन को छुए, तो क्या वह भोजन पवित्र ठहरेगा? याजकों ने उत्तर दिया, नहीं। 13 फिर हाग्गै ने पूछा, यदि कोई जन मनुष्य की लोथ के कारण अशुद्ध हो कर ऐसी किसी वस्तु को छुए, तो क्या वह अशुद्ध ठहरेगी? याजकों ने उत्तर दिया, हां अशुद्ध ठहरेगी। 14 फिर हाग्गै ने कहा, यहोवा की यही वाणी है, कि मेरी दृष्टि में यह प्रजा और यह जाति वैसी ही है, और इनके सब काम भी वैसे हैं; और जो कुछ वे वहां चढ़ाते हैं, वह भी अशुद्ध है; 15 अब सोच-विचार करो कि आज से पहिले अर्थात जब यहोवा के मन्दिर में पत्थर पर पत्थर रखा ही नहीं गया था, 16 उन दिनों में जब कोई अन्न के बीस नपुओं की आशा से जाता, तब दास ही पाता था, और जब कोई दाखरस के कुण्ड के पास इस आशा से जाता कि पचास बर्तन भर निकालें, तब बीस ही निकलते थे। 17 मैं ने तुम्हारी सारी खेती को लू और गरूई और ओलों से मारा, तौभी तुम मेरी ओर न फिरे, यहोवा की यही वाणी है। 18 अब सोच-विचार करो, कि आज से पहिले अर्थात जिस दिन यहोवा के मन्दिर की नेव डाली गई, उस दिन से ले कर नौवें महीने के इसी चौबीसवें दिन तक क्या दशा थी? इसका सोच-विचार करो। 19 क्या अब तक बीच खत्ते में है? अब तक दाखलता और अंजीर और अनार और जलपाई के वृक्ष नहीं फले, परन्तु आज के दिन से मैं तुम को आशीष देता रहूंगा॥ 20 उसी महीने के चौबीसवें दिन को दूसरी बार यहोवा का यह वचन हाग्गै के पास पहुंचा, यहूदा के अधिपति जरूब्बाबेल से यों कह : 21 मैं आकाश और पृथ्वी दोनों को कम्पाऊंगा, 22 और मैं राज्य-राज्य की गद्दी को उलट दूंगा; मैं अन्यजातियों के राज्य-राज्य का बल तोडूंगा, और रथों को चढ़वैयों समेत उलट दूंगा; और घोड़ों समेत सवार एक दूसरे की तलवार से गिरेंगे। 23 सेनाओं के यहोवा की यही वाणी है, उस दिन, हे शालतीएल के पुत्र मेरे दास जरूब्बाबेल, मैं तुझे ले कर अंगूठी के समान रखूंगा, यहोवा की यही वाणी है; क्योंकि मैं ने तुझी को चुन लिया है, सेनाओं के यहोवा की यही वाणी है॥ मत्ती 6:33 33 इसलिये पहिले तुम उसे राज्य और धर्म की खोज करो तो ये सब वस्तुएं भी तुम्हें मिल जाएंगी।